School Bag Free Day : उत्तराखंड सरकार ने लिया बड़ा फ़ैसला – बच्चों के लिए 10 दिन रहेगा ‘बैग फ्री डे’
देहरादून (उत्तराखंड पोस्ट) सूबे में स्कूली बच्चों के बैग का बोझ कम करने के उद्देश्य से राज्य सरकार ने नई पहल शुरू की है। शिक्षा मंत्री ने सभी स्कूलों में ‘बैग फ्री डे’ लागू करने का निर्णय लिया है। जिसके तहत स्कूलों में साल में कुल दस दिन बस्ता रहित दिवस मनाया जाएगा।
जिसकी सरकार ने स्वीकृति देते हुये संपूर्ण शैक्षिक सत्र में कुल दस दिन बस्ता रहित दिवसों का संचालन करने का निर्णय लिया है। इसके लिये हर माह के लास्ट सैटरडे का दिन नियत किया गया है। बैग फ्री डे योजना उच्च प्राथमिक व माध्यमिक विद्यालयों के कक्षा-6 से कक्षा-12 तक लागू की जाएगी।
School Bag Free Day : 10 बैग फ्री डेज की मंजूरी
शिक्षा मंत्री डा. धन सिंह रावत के मुताबिक हर महीने के अंतिम शनिवार को यह योजना लागू होगी। इस योजना के तहत छात्र-छात्राएं बिना बस्ते के स्कूल जाएंगे। जहां वह अपनी रूचि के अनुसार विभिन्न गतिविधियों में प्रतिभाग कर सकेंगे।
6 से 12वीं क्लास के लिए लागू होगी योजना
राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 के अनुरूप प्रदेश के सभी विद्यालयों में बस्ता मुक्त दिवस योजना लागू किया जा रहा है। योजना उच्च प्राथमिक एवं माध्यमिक विद्यालयों में कक्षा छह से कक्षा-12 वीं तक लागू की जाएगी। प्रदेश के राजकीय प्राथमिक विद्यालयों में यह योजना पहले से ही ‘प्रतिभा दिवस’ के रूप में संचालित की जा रही है। जिसके तहत भाषा, गणित विज्ञान, खेलकूद, कला, क्राफ्ट, श्रम के कार्य व व्यायाम, सामाजिक एवं सांस्कृतिक अभिरूचि की गतिविधियां संचालित की जा रही हैं।
उत्तराखंड स्कूल बैग फ्री डे प्लान
शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत द्वारा विभागीय प्रस्ताव को स्वीकृति प्रदान कर दी गई है। जिसका शासनादेश जारी होते ही ‘बैग फ्री डे’ योजना के क्रियान्वयन की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी। उन्होंने कहा कि राज्य के 4500 से अधिक प्री-प्राइमरी पाठशालाओ एवं आंगनबाडी केन्द्रों में एनईपी लागू कर ली गई है, अन्य कक्षाओं में भी धीरे-धीरे इसे लागू किया जायेगा।
जिसकी जिम्मेदारी हर जनपद के मुख्य शिक्षा अधिकारी की होगी।शिक्षा मंत्री ने कहा कि प्रदेशभर के स्कूलों में पढ़ने वाले छात्र-छात्राओं के सर्वांगीण विकास को ध्यान में रखते हुए राज्य सरकार ने एनईपी-2020 के मानकों के तहत महीने में एक दिन ‘बस्ता रहित दिवस’ रखने का निर्णय लिया है। इस दिन छात्र-छात्रों को उनकी रूचि के अनुरूप विभिन्न गतिविधियों में प्रतिभाग करने का मौका दिया जायेगा।
School Bag Free Day : बैग फ्री डे पर क्या करेंगे बच्चे ?
स्कूलों में बैग फ्री डे पर तीन एक्टिविटी होंगी. इसमें जैविक रूप, मशीन और सामग्री और मानवीय सेवाएं शामिल हैं. उच्च प्राथमिक विद्यालयों में जैविक रूप की गतिविधियों में छात्र-छात्राओं को कृषि/बागवानी आदि संबंधी पद्धतियां सिखाई जायेगी. मशीन और सामग्री के तहत छात्रों को कागज, लकड़ी, मिट्टी, कपड़ा, पेंट, स्याही जैसी चीजों का उपयोग कर हस्तशिल्प कार्य और मशीनों का उपयोग करना बताया जायेगा. मानवीय सेवाओं के तहत कुशल संवाद की अभिरूचि और टीमों में काम करने की योग्यता, स्वास्थ्य देखभाल और आतिथ्य के आधार सहित बुनियादी सूचना एवं संचार प्रौद्योगिकी तथा तकनीकी कौशल सिखाया जायेगा।
माध्यमिक विद्यालयों में जैविक रूप कार्यों के तहत छात्र-छात्राओं को प्रकृति अनुकूल कृषि, प्रकृति संरक्षण, नर्सरी प्रबंधन, पशुधन पालन, वित्तीय सेवाएं, सौन्दर्य और व्यक्तिगत देखभाल एवं उद्योग संबंधी जानकारियां दी जाएंगी. मशीन व सामग्री के तहत छात्रों को सिलाई, वेल्डिंग, मिट्टी के बर्तन, स्थानीय कला व रोबोटिक मशीनिंग आदि की ट्रेनिंग दी जायेगी. मानवीय सेवाओ के तहत छात्रों को स्वास्थ्य देखभाल, बिजली का काम, परिवहन सेवाएं, विक्रय और विपणन, आतिथ्य और पर्यटन, इंटरमीडिएट सूचना एवं संचार प्रौद्योगिकी तथा तकनीकी कौशल का प्रशिक्षण दिया जायेगा।
प्रमुख उद्देश्य स्कूली बच्चों के बस्ते के बोझ को कम करना वा –
इसी क्रम में राज्य सरकार ने राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 की अनुशंसा के आधार पर सभी प्रकार के विद्यालयों में वर्षभर में 10 बस्ता रहित दिवसों के संचालन की स्वीकृति प्रदान कर दी है। जिसका प्रमुख उद्देश्य स्कूली बच्चों के बस्ते के बोझ को कम करना, विभिन्न गतिविधियों के माध्यम से छात्रों में निहित प्र्रतिभाओं का समुचित विकास करना, स्थानीय व्यवसायों तथा हस्त शिल्प संबंधी कौशल विकास के साथ ही श्रम के प्रति सम्मान की भावना विकसित करना है। इस संबंध में शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत द्वारा विभागीय प्रस्ताव को स्वीकृति प्रदान कर दी गई है, जिसका शासनादेश जारी होते ही ‘बैग फ्री डे’ योजना के क्रियान्वयन की प्रक्रिया शुरू हो जायेगी और इसकी जिम्मेदारी प्रत्येक जनपद के मुख्य शिक्षा अधिकारी की होगी।
Report by – Sandhya kumari