हल्द्वानी। उत्तराखंड के हल्द्वानी में भारी हिंसा के बाद कर्फ्यू लगा दिया गया है और उपद्रवियों को देखते ही गोली मारने का आदेश दे दिया गया है। अवैध मदरसा और मस्जिद के नाम पर किए गए अतिक्रमण को तोड़ने पहुंची टीम पर पथराव के बाद उपद्रवियों ने जमकर आगजनी की। दर्जनों वाहनों को फूंक डाला गया है।
कई पुलिसकर्मी जख्मी हो गए। मुख्यमंत्री पुष्कर धामी ने हाई लेवल मीटिंग की है और उपद्रवियों से सख्ती से निपटने को कहा है। वनभूलपुरा के मलिक का बगीचा क्षेत्र की नजूल भूमि पर अतिक्रमण है। कोर्ट के आदेश पर पिछले दिनों नगर निगम की टीम ने अभियान शुरू किया था। इस दौरान क्षेत्र में बने भवनों को ध्वस्त किया गया। अतिक्रमण हटाने के दौरान मदरसा और नमाज स्थल के भी नजूल भूमि में होने पर निगम ने दोनों को तोड़ने के लिए कार्रवाई शुरू की थी।
मदरसा व नमाज स्थल को सील कर दिया था। गुरुवार को प्रशासन और नगर निगम की टीम भारी पुलिस बल के साथ मौके से अतिक्रमण हटाने पहुंची। इस दौरान क्षेत्र में तनाव फैल गया। अतिक्रमण हटाने गई टीम पर पथराव कर दिया गया। पुलिस ने लाठीचार्ज करके भीड़ को हटाने की कोशिश की, लेकिन हालात बिगड़ते चले गए। एक दर्जन के अधिक वाहनों को आग के हवाले कर दिया गया। उद्रवियों ने थाने को भी फूंक दिया।
कुमाऊं विश्वविद्यालय की परीक्षाएं स्थगित- हल्द्वानी में तनावपूर्ण माहौल के बाद कुमाऊं विश्वविद्यालय की ओर से वर्तमान में आयोजित विभिन्न परीक्षाएं फिलहाल स्थगित कर दी गई हैं। विश्वविद्यालय के परीक्षा नियंत्रक डॉ. महेंद्र राणा की ओर से आदेश जारी।
स्थिति सामान्य होने पर आगामी परीक्षाओं को लेकर जल्द आदेश जारी किया जाएगा। पुलिस मुख्यालय के प्रवक्ता आईजी नीलेश आनंद भरणे ने बताया कि अर्धसैनिक बल की 4 कंपनियां हिंसा प्रभावित इलाके में भेजी गई हैं। ऊधमसिंह नगर से पीएसी की दो कंपनियां पहुंच चुकी हैं। हल्द्वानी के गफूर बस्ती में गोली लगने से बाप-बेटे की मौत की सूचना है। हिंसा में 300 से अधिक लोग जख्मी हुए हैं, जिनमें अधिकतर पुलिस के जवान और अधिकारी हैं। 100 से अधिक वाहनों को आग के हवाले कर दिया गया।